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5 अप्रैल 2013

जय-जय राजस्थान के उद्घोष के साथ राजे की यात्रा

vasundharaजयपुर/देवगढ़, 5 अप्रेल।
जय-जय राजस्थान और जय जवान-जय किसान-वंदेमातरम-जय श्रीराम जैसे नारों और सुराज लाने के संकल्प के साथ सुराज संकल्प यात्रा का दूसरा दिन आज भीम विधानसभा क्षेत्र के देवगढ़ से शुरू हुआ। करीब 10 बजे देवगढ़ से रवाना हुई यात्रा का पहला स्वागत स्वादड़ी में किया गया। उत्साह से भरपूर कार्यकर्ताओं ने जोश भरे नारों के साथ राजे की यात्रा का जगह-जगह स्वागत किया। रथ की छत पर सवार हो जब वसुन्धरा निकली तो लोग उनकी एक झलक के साथ ही झूम उठे। इस पर कई बार वसुन्धरा भी उनके साथ झूमी तो कई बार हाथ उठा, मुस्कराकर अभिवादन भी किया।
राजे ने भी कार्यकर्ताओं को चुनाव की तैयारियों में जुट जाने का आह्वान किया। राजे ने कहा कि पूरी पार्टी मिल कर काम करेगी तो सरकार जरूर बनेगी। स्वागत सभाओं में सरकार पर जमकर प्रहार करते हुए राजे ने कहा कि प्रदेश की जनता को कांग्रेस के कुशासन से मुक्ति दिलानी है। जिन्होंने गरीबों को मसल दिया, उन्हें हराने के लिए संघर्ष करना है। आने वाले छह महीने आपको और हमें खून-पसीना एक करना है। मौजूदा कांग्रेस सरकार को सत्ता से उखाड़ फेंकने से हमें कोई नहीं रोक सकता, लेकिन हमें मेहनत करनी पड़ेगी। जिन लोगों ने विकास का पहिया थामा है उनसे आप और हम मिलकर हिसाब लेंगे।
जय-जय राजस्थान के उद्घोष के साथ राजे की यात्रा का राजसमंद तक पूरे मार्ग में स्वागत किया गया। स्वादड़ी के बाद यात्रा का 10.15 कुंवाथला, 10.30 नराना, 10.45 माद, 11 बजे आमेट, 11.30 सरदारगढ़, 12 मादडी चौराहा 12.30 कुंवारिया, दोपहर 1 बजे कुरज, 1.30 बजे रेलमगरा तथा दो बजे राज्यवास में स्वागत किया गया। करीब 2.30 बजे राजसमन्द जिला मुख्यालय पर एवं 4.30 बजे नाथद्वारा में आमसभा होगी। आज वसुन्धरा का रात्रि विश्राम भी नाथद्वारा में ही होगा।

मोदी के नारों से राजनाथ मायूस

मेवाड़ के प्रसिद्ध धार्मिक स्थल चारभुजा धाम में वसुंधरा राजे को भावी मुख्यमंत्री के रूप में प्रोजेक्ट करने पहुंचे भाजपा राष्ट्रीय अध्यक्ष राजनाथ सिंह को ‘प्रधानमंत्री कैसा हो, नरेंद्र मोदी जैसा होÓ और मोदी को पीएम प्रोजेक्ट करने जैसे नारों का भी सामना करना पड़ा। अपने भाषण के दौरान भी राजनाथ को नारों के शांत होने तक एक-दो बार रुकना पड़ा। हालांकि खुद राजनाथ ने अपने भाषण के दौरान पार्टी के पीएम पद दावेदारी के बारे में कुछ भी नहीं कहा।

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