उदय पुलिस प्रशासन मौके पर दरिंदगी होते देखता रहा,
उदयपुर
सराड़ा
थाना क्षेत्र के कोलर गांव में महिला को निर्वस्त्र कर पेड़ से बांधने के
मामले में उपसरपंच नंदलाल और महिला के पति हामजी मीणा सहित आठ
लोगों को गिरफ्तार कर लिया गया है।
मुख्यमंत्री ने घटना की जांच के आदेश दिए हैं और संभागीय आयुक्त से सात दिन में रिपोर्ट मांगी है। उधर, गांव में सन्नाटा पसरा रहा। गिरफ्तारी के डर से ज्यादातर लोग गांव छोड़ कर चले गए हैं। क्षेत्र की महिला विधायक बसंती देवी मीणा ने अब तक पीड़ित महिला से मुलाकात नहीं की है। विधायक बसंती देवी इस क्षेत्र के सांसद रघुवीर मीणा की पत्नी है और वे खुद भी यहां से चार बार विधायक रह चुके हैं।
अब नहीं जाऊंगी ससुराल : पीड़िता
महिला एवं बाल विकास विभाग की डिप्टी डायरेक्टर श्वेता फगेड़िया व समाज कल्याण विभाग के निदेशक मान्धातासिंह राणा के समक्ष पीड़िता महिला ने पूरी घटना को सिलसिलेवार बताया और कहा ‘अब नहीं जाऊंगी ससुराल।’ उसने प्रेमी के साथ जाने की इच्छा जाहिर की।
दोषियों के खिलाफ कार्रवाई हो : प्रकाश मीणा
पीड़ित प्रेमी कोलर गांव निवासी प्रकाश मीणा ने बताया कि ‘हमारे साथ जो हरकत की गई है, उसके दोषियों के खिलाफ कार्रवाई होनी चाहिए ताकि किसी अन्य के साथ ऐसी घटना नहीं हो।’ प्रकाश मीणा ने कार्यवाहक कलेक्टर बीआर भाटी के समक्ष ये बयान दिए।
पुलिस की कार्रवाई
पुलिस ने आरोपियों के खिलाफ मामला दर्ज किया है। इसके बाद पीड़िता को उसके भाई अंबाला निवासी गेहरीलाल के सुपुर्द कर दिया। पीड़ित प्रकाश मीणा को थाने पर ही रखा है। कार्यवाहक कलेक्टर बीआर भाटी ने सराड़ा थाने पहुंचकर संबंधित लोगों से बातचीत की।
मैं पुलिस से संपर्क में हूं : सांसद
क्षेत्रीय विधायक बसंती देवी मीणा के सांसद पति रघुवीर मीणा ने बताया कि ‘ यह घटना निंदनीय है। मैं पुलिस से लगातार संपर्क में हूं। पुलिस ने मारपीट की घटना से इनकार किया है। मामला संवेदननीशल है, हम बातचीत कर रहे हैं। मैं और विधायकजी मंगलवार को पीड़िता के पीहर जाएंगे।’
सरकार को रिपोर्ट भेजेंगे : कलेक्टर
कलेक्टर हेमंत गेरा ने बताया कि इस घटना की सरकार ने रिपोर्ट मांगी है। हम सभी तरफ से रिपोर्ट संग्रहित कर मुख्य सचिव, गृहमंत्रालय को भेजने की तैयारी की जा रही है। यह रिपोर्ट संभवत: मंगलवार तक भेज दी जाएगी।
मानवाधिकार आयोग ने उठाए सवाल
राज्य मानवाधिकार आयोग ने भास्कर की खबर पर प्रसंज्ञान लेते हुए उदयपुर कलेक्टर और एसपी से 15 दिन में रिपोर्ट मांगी है। आयोग के अध्यक्ष एचआर कुड़ी ने कहा कि पूरे मामले में पुलिस प्रशासन मौके पर पहुंचने के बाद भी उनके साथ दरिंदगी होते देखता रहा, यह बेहद शर्मनाक है।
इस घटना से यह साबित होता है कि महिलाओं की सुरक्षा के लिए बनाए गए विभिन्न कानूनों का खाप पंचायत के फरमान के आगे प्रशासन की मूक दर्शिता को देखते हुए कोई प्रभाव नहीं रह गया है।
जवाब मांगते सवाल सरकार से
>तालिबानी फैसला सुनानेवाली ऐसी पंचायतों पर प्रतिबंध क्या सिर्फ दिखावा है?
>स्थानीय सांसद रघुवीर मीणा और उनकी विधायक पत्नी बसंती देवी अभी तक घटनास्थल पर क्यों नहीं पहुंचे? कहीं मौन सहमति तो नहीं?
>सरकार ने सात दिन में रिपोर्ट मांगी है, लेकिन बर्बरता को रोकने में नाकाम किसी अफसर पर कोई कार्रवाई नहीं की?
.राष्ट्रीय महिला आयोग की अध्यक्ष ममता शर्मा ने कहा कि निर्वस्त्र की गई महिला के गांव वाले नाक काटना चाहते थे और गधे पर बैठाकर गांव में घुमाना चाहते थे, लेकिन पुलिस के पहुंचने के बाद वे ऐसा नहीं कर पाए। उन्होंने कहा कि इस कृत्य में महिलाएं भी शामिल थीं।
ममता शर्मा अपनी टीम के साथ उदयपुर पहुंची थीं। उन्होंने पीड़िता से मुलाकात की। उनके साथ आयोग की सदस्य एवं प्रोफेसर विजयलक्ष्मी चौहान, लता चौधरी भी थीं। पुलिस और प्रशासनिक अधिकारियों के साथ हुई बैठक में आयोग ने शेष आरोपियों को शीघ्र गिरफ्तार करने, फास्ट ट्रैक में मामला रखकर शीघ्र निस्तारण करवाने और पीड़िता के पुनर्वास के प्रबंध करने की अनुशंसा की है।
सराड़ा में क्या पेड़ों से बातें करते :
ममता शर्मा ने घटनास्थल सराड़ा के कोलार गांव नहीं गईं। उन्होंने कहा-वहां जाने का कोई औचित्य ही नहीं है। घटना हो चुकी है, अब वहां जाकर पेड़ों से तो बातें करने से रहे।
मीडियाकर्मियों द्वारा मुलाकात के स्थान के बारे में पूछने पर उन्होंने कहा कि कुछ बातें गुप्त रखी जाती हैं। दुबारा पूछने पर उन्होंने बताया कि एयरपोर्ट और सर्किट हाउस के बीच किसी स्थान पर पीड़िता से मिले। उन्होंने कहा कि मामले में धारा 120बी जोड़ने व सीआरपीसी की धारा 357 के प्रावधानों के तहत कार्रवाई करने की सिफारिश भी की गई। पीड़िता को घटना से हुए मानसिक आघात से उभरने के लिए मनोवैज्ञानिक विशेषज्ञ से परामर्श दिलाया जाए।
महिलाओं को घर छोड़ने की जिम्मेदारी प्रबंधन की : ममता शर्मा
राष्ट्रीय महिला आयोग की अध्यक्ष ममता शर्मा ने कहा कि गैर सरकारी क्षेत्रों में महिलाएं यदि देर तक काम करती हैं तो उसे सुरक्षित घर छुड़वाने की जिम्मेदारी नियोक्ता, कंपनी या प्रबंधन की होगी। महिला के घर जाने के बीच कोई अव्यवहार या दुर्घटना होती है तो इसके लिए कंपनी प्रबंधन को ही जिम्मेदार माना जाएगा। गुड़गांव में कुछ कंपनियों ने इसकी शुरुआत कर दी है। इसे सारे देश में लागू किया जाएगा।
फैसले के लिए गांव बुलाया था : पीड़िता
पीड़िता ने आयोग को बताया कि उसकी शादी को साढ़े 3 साल हो चुके हैं। उसके एक लड़की है, जो उसके दादा-दादी के पास रहती है। पीड़िता ने बताया कि व किसी और को चाहती है यह बात पति को भी पता थी। पिछले 15 दिनों से वह प्रेमी के साथ सुमेरपुर में थी। पति व अन्य ने फैसला कराने के बहाने उन्हें गांव में बुलाकर यह घटना की। आयोग के सुरक्षा की पेशकश करने पर पीड़िता ने इनकार कर दिया। उसने कहा कि वह अपने भाई के पास सुरक्षित है।
सांसद, विधायक ने भी पूछी कुशलक्षेम
उदयपुर सांसद रघुवीर सिंह मीणा तथा सलूंबर विधायक बसंती देवी मीणा भी मंगलवार को पीड़िता से मिले तथा उसकी कुशलक्षेम पूछी। उन्होंने घटना को शर्मनाक बताया और दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने के निर्देश दिए।
पति दो दिन के रिमांड पर, शेष को जेल
महिला को निर्वस्त्र करने के मामले में गिरफ्तार पति हामजी मीणा को अदालत ने दो दिन रिमांड पर रखने का आदेश दिया है। शेष 7 आरोपियों पाल सराड़ा के उपसरपंच नंदलाल मीणा, गौतम मीणा, बाबू मीणा, वेलचंद मीणा, लक्ष्मण मीणा, रामलाल मीणा, मावजी मीणा को जेल भेज दिया।
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